Maha Shivratri Special 2023 Brahma Murari Surarchita Lingam - Lingashtakam || Lingashtakam Stotra || Shiva Mantra ब्रह्म मुरारी सुररचिता लिंगम - लिंगाष्टकम || लिंगाष्टकम स्तोत्र || शिव मंत्र Please subscribe to our other channels as well ( कृपया हमारे अन्य चैनलों को भी सब्सक्राइब करें ) @SpiritualMantra1981 | @SpiritualBhajans | @ShriHanumanBhajans | @HinduGodLovers | @ShriKrishnaSongs | @MaaDeviSongs लिंगाष्टकम भगवान भोलेनाथ के लिंगस्वरूप की स्तुति कर भोलेनाथ करने का उत्तम अष्टक है, जो कोई भक्त पूर्ण आस्था तथा श्रृद्धा सहित भोले बाबा के लिंगाष्टकम का पाठ करेगा उसकी सभी मनोकामना तथा इच्छाओं की पूर्ति स्वयं शिव शंकर करते हैं, श्री शिव लिंगाष्टकम अर्थ सहित इस प्रकार है:- ब्रह्ममुरारि सुरार्चित लिंगम् निर्मलभासित शोभित लिंगम्। जन्मज दुःख विनाशक लिंगम् तत् प्रणमामि सदाशिव लिंगम् ॥1॥ भावार्थः- जो ब्रह्मा, विष्णु और सभी देवगणों के इष्टदेव हैं, जो परम पवित्र, निर्मल, तथा सभी जीवों की मनोकामना को पूर्ण करने वाले हैं और जो लिंग के रूप में चराचर जगत में स्थापित हुए हैं, जो संसार के संहारक है और जन्म और मृत्यु के दुखो का विनाश करते है ऐसे भगवान आशुतोष को नित्य निरंतर प्रणाम है | देवमुनि प्रवरार्चित लिंगम् कामदहन करुणाकर लिंगम्। रावणदर्प विनाशन लिंगम् तत् प्रणमामि सदाशिव लिंगम् ॥2॥ भावार्थः- भगवान सदाशिव जो मुनियों और देवताओं के परम आराध्य देव हैं, तथा देवो और मुनियों द्वारा पूजे जाते हैं, जो काम (वह कर्म जिसमे विषयासक्ति हो) का विनाश करते हैं, जो दया और करुना के सागर है तथा जिन्होंने लंकापति रावन के अहंकार का विनाश किया था, ऐसे परमपूज्य महादेव के लिंग रूप को मैं कोटि-कोटि प्रणाम करता हूँ | सर्वसुगन्धि सुलेपित लिंगम् बुद्धि विवर्धन कारण लिंगम्। सिद्ध सुरासुर वन्दित लिङ्गम् तत् प्रणमामि सदाशिव लिंगम् ॥3॥ भावा
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